केन्द्रीय जेल सतना से रिहा हुए 15 बंदी ।

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सतना। गलतियों और आचरण में सुधार का अवसर दिया, नतीजतन आचरण की जिस बुराई ने गुनाहगार बनाया उसी आचरण की अच्छाई ने रिहाई के रास्ते खोल दिए। सतना में आजादी के अमृत महोत्सव पर आज गड़तंत्र दिवस के अवसर पर सतना केन्द्रीय जेल से 15 बंदी आजाद हुए, इनमें से 14 बंदी आजीवन कारावास की सज़ा भुगत रहे थे, जबकि एक बंदी छोटी सजा। आज गड़तंत्र दिवस के दिन इन्हें क्रेंदीय जेल से रिहा किया गया। इनमें दो महिला बंदी भी शामिल है।

दरअसल सरकार की गाइड लाइन के मुताविक अपराध बोध के बाद उच्च आचरण वाले चिन्हित बंदियों को सजा में छूट का प्रावधान है, उनकी सजा मांफी की व्यवस्था की गई है, इसी का इन बंदियों को लाभ मिला ।

क्रेंदीय जेल सतना में आजीवन कारावास की सजा काट रहे सतना के आठ, छतरपुर के तीन, पन्ना और रीवा के एक बंदी की रिहाई हुई है, जबकि दो बंदी जिले के अन्य जेल से रिहा हुए। सभी बंदियों को समाज मे सुद्ध आचरण रखने की सपथ दिलाकर आज जेल से रिहा किया गया।

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